दूध सागर डेयरी के सागरदाण कारखाने और मानसिंहभाई इंस्टीट्यूट

 

ऑफ डेयरी एंड फूड टेक्नोलॉजी का मुख्यमंत्री ने किया लोकार्पण

 

गांव-गांव में गोबर बैंक और एनीमल हॉस्टल निर्माण

 

का नेतृत्व करे सहकारी डेयरियां : मुख्यमंत्री

 

श्वेत क्रांति के जनक स्व. डॉ.वर्गीस कुरियन को दी श्रद्घांजलि

मुख्यमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने रविवार को गुजरात की दूध सहकारी उद्योग की शान समान महेसाणा की दूध सागर डेयरी की जगुदण गांव में नवनिर्मित सागरदाण फैक्टरी और मानसिंहभाई इंस्टीट्यूट ऑफ डेयरी एंड फूड टेक्नोलॉजी का उद्घाटन करते हुए गांव-गांव में पर्यावरणलक्षी पशुपालन के लिए गोबर बैंक और एनीमल हॉस्टल बनाने का नेतृत्व करने का सहकारी डेयरियों से आह्वान किया।

श्वेत क्रांति के प्रणेता स्व. डॉ. वर्गीस कुरियन के दु:खद अवसान पर समारोह से पूर्व मौन रहकर भावभीनी श्रद्घांजलि अर्पित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि पशुपालन, दूध उत्पादन, दूध की मूल्यवृद्घि और सहकारिता के जरिए दुनिया भर में भारत का नाम रोशन करने के लिए डॉ. कुरियन ने आजीवन छह दशक अखंड एवं एक निष्ठा से मंथन किया। वन लाइफ-वन मिशन को चरितार्थ करने वाले डॉ. कुरियन का जन्म भले ही गुजरात में नहीं हुआ लेकिन उन्होंने प्रत्येक गुजराती के दिल में स्थान बनाया था। गुजरात सरकार की ओर से डॉ. कुरियन को श्रद्घांजलि अर्पित करते हुए उन्होंने कहा कि प्रत्येक पशु की आंखें आज सजल होंगी। उनके अधूरे स्वप्न को पूरा करने की प्रबल इच्छा शक्ति हमें प्राप्त हो।

विशाल संख्या में मौजूद किसान शक्ति का अभिवादन करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि मानसिंहभाई द्वारा स्थापित दूध सागर डेयरी आज लाखों पशुपालकों और किसानों के लिए समृद्घि का वट वृक्ष बन गई है।

श्री मोदी ने कहा कि भारत में दूध उत्पादन के लिए पशुपालन की उपेक्षा हुई है। विश्व के मुकाबले भारत में प्रति मवेशी दूध की उत्पादकता कम है, इसकी वजह से पशुपालक की आर्थिक स्थिति में सुधार नहीं हो पा रहा है। उन्होंने कहा कि पशुपालन के क्षेत्र में पशुपालकों को वैज्ञानिक पद्घति की ओर प्रेरित कर गत दस वर्षों में गुजरात ने दूध उत्पादन में 68 फीसदी का इजाफा किया है। और अब सौराष्ट्र में जहां पशु आहार की फैक्टरी नहीं थी तथा किफायती दाम पर पशु आहार उपलब्ध नहीं था, इस स्थिति का सामना करने के लिए गुजरात सरकार ने पशु आहार फैक्टरी की सहकारी क्षेत्र में स्थापना के लिए 30 करोड़ रुपये की प्रोत्साहक योजना बनाई है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि दूध उत्पादन के क्षेत्र में गुजरात की विराट सफलता का यश सिर्फ और सिर्फ पशुपालक-किसान परिवार की माताओं और बहनों को जाता है, जिन्होंने पशुओं का जतन करने की वात्सल्य भावना का परिचय दिया है।

उन्होंने गुजरात में वैज्ञानिक तरीके से पशुपालन के लिए मानव शक्ति तैयार करने को कामधेनु यूनिवर्सिटी के गठन का जिक्र करते हुए गांव-गांव में एनीमल हॉस्टल के निर्माण की हिमायत की।

मुख्यमंत्री ने कहा कि देर से ही सही लेकिन मेघराजा ने गुजरात पर मेहर की और अकाल मुंह दिखाकर चला गया, इससे कइयों के सत्ता-सुख के सपने चकनाचूर हो गए हैं।

इस अवसर पर उन्होंने घासचारे की बुआई और जलसंग्रह के लिए मौजूदा बांधों, तालाबों और चैकडैमों के डिसिल्टिंग का अभियान चलाने की अपील की।

श्री मोदी ने गुजरात द्वारा पशु स्वास्थ्य मेलों के जरिए 112 जितने पशु रोगों के उन्मूलन और लाखों पशुओं के स्वास्थ्य की देखभाल की भूमिका भी पेश की।

दूध सागर डेयरी की ओर से मानसिंहभाई डेयरी टेक्नोलॉजी संस्था की स्थापना पर अभिनंदन देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि डेयरी टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में किसान परिवार की कन्याएं भी पदार्पण कर रही हैं, जो गुजरात की नारी शक्ति के सामथ्र्य को साबित करता है।

दूध उत्पादन और पशुपालन के लिए वैज्ञानिक प्रयोग करने तथा नर्मदा के जल और दूध उत्पादन के सुभग संयोग का अधिकतम लाभ लेने की किसानों से अपील की। इस मौके पर शहरी विकास मंत्री नितिनभाई पटेल ने कहा कि पशु आहार फैक्टरी की स्थापना से कम दाम पर पशु आहार उपलब्ध होने से लाखों पशुपालकों को फायदा होगा। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री मोदी के नेतृत्व में राज्य ने सर्वांगीण विकास किया है। पशु मेला और कृषि महोत्सव के आयोजन से गुजरात ने श्वेत क्रांति का नेतृत्व किया है। उन्होंने कहा कि नर्मदा बांध की ऊंचाई बढ़ाने के लिए मुख्यमंत्री ने उपवास आंदोलन किया था जिसके चलते बांध की उंचाई 121.92 मीटर तक बढ़ाने में सफलता मिली। कृषि एवं सहकारिता मंत्री दिलीपभाई संघाणी ने कहा कि मानसिंहभाई द्वारा स्थापित दूध सागर डेयरी उत्तर गुजरात के किसानों के लिए आस्था का केन्द्र बनी है। स्थानीय स्तर पर फैक्टरी की स्थापना से पशुपालकों को बढिय़ा और किफायती दाम पर पशु आहार मिल सकेगा।

दूध सागर डेयरी के चेयरमैन विपुलभाई चौधरी ने कहा कि यह व्यवसाय बहनों का है। दूध मंडलियों और फेडरेशन की ओर से प्रस्ताव पारित कर बहनों के हाथों रुपया दिये जाने पर उसका सदुपयोग हो सकेगा, और यही श्वेत क्रांति के प्रणेता डॉ. कुरियन को हमारी ओर से सच्ची श्रद्घांजलि होगी। उन्होंने कहा कि यह फैक्टरी देश की सबसे बड़ी पशु आहार फैक्टरी है, जहां प्रतिदिन 10 लाख किलो आहार का उत्पादन होने को है।

इस अवसर पर राजस्व मंत्री श्रीमती आनंदीबेन पटेल, सांसद जयश्रीबेन पटेल, विधायकगण ऋषिकेशभाई पटेल, कांतिभाई पटेल, अनिलभाई पटेल, भरतसिंह डाभी, नारायणभाई पटेल, जिला पंचायत अध्यक्ष जयंतीभाई पटेल, राज्य की विविध डेयरियों के चेयरमैन मोंघाभाई, साबर डेयरी के चेयरमैन जेठाभाई पटेल, गुजरात राज्य जमीन विकास बैंक के शंकरसिंह राणा, बाबाभाई भरवाड़, भावनगर के महेन्द्रभाई, कच्छ के वालमभाई, विसनगर मार्केट यार्ड के अध्यक्ष प्रहलादभाई सहित सहकारी संस्था के अग्रणी उपस्थित थे।