सरकार और न्यायतंत्र में आम आदमी की विश्वसनीयता का जतन करने का श्री मोदी ने किया आह्वान
सरकारी वकील न्याय और सत्य के प्रगटीकरण के लिए न्यायतंत्र और सरकार के पूरक बनें: श्री मोदी
गुजरात उच्च न्यायालय के विद्वान न्यायमूर्तियों का न्यायिक प्रक्रिया में पब्लिक प्रॉसिक्युटर की भूमिका पर प्रेरणादायी मार्गदर्शन
मुख्यमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने गुजरात की अदालतों के पब्लिक प्रॉसिक्युटरों के प्रथम सेमीनार का आज गांधीनगर में शुभारम्भ करते हुए सरकार और न्यायिक व्यवस्था में आम आदमी का विश्वास बरकरार रहे, इसके लिए निर्णायक भूमिका निभाने का राज्य के पब्लिक प्रोसिक्युटरों को प्रेरक आह्वान किया।लोकतंत्र में सरकार और न्यायतंत्र के प्रति विश्वसनीयता का वातावरण और अपनेपन का भाव होना चाहिए। इसका उल्लेख करते हुए श्री मोदी ने सरकारी वकीलों के व्यक्तित्व और आचरण को न्यायिक प्रक्रिया के पूरक और पोषक बनने पर बल दिया। राज्य सरकार के कानून विभाग और न्यायपालिका के प्रेरक सहयोग से महात्मा मन्दिर में न्यायतंत्र के साथ जुड़े सरकारी वकीलों का यह प्रथम सेमीनार था। गुजरात की उच्च अदालतों के विद्वान न्यायमूर्तियों को इस सेमीनार में अपना प्रेरक योगदान देकर न्यायिक प्रक्रिया में पब्लिक प्रोसिक्युटरों के सेमीनार को प्राणवान बनाने में सहभागी होने पर श्री मोदी ने शुभकामनाएं दी।
श्री मोदी ने इस मौके पर कहा कि न्याय और सत्य के प्रगटीकरण का भरोसा जितना मजबूत बनेगा उतना ही सरकार और सरकारी व्यवस्था में जनता का विश्वास बढ़ेगा और न्यायतंत्र की प्रतिष्ठा ज्यादा गरीमापूर्ण बनेगी।
लोकतंत्र में सरकार जनता जनार्दन का ही प्रतिनिधित्व करती है ऐसे में सरकारी व्यवस्था के अंग पब्लिक प्रोसिक्युटरों का व्यक्तित्व न्याय की प्रक्रिया की सहायक हो, ऐसा होना चाहिए जिससे न्याय मिलने की अनुभूति हो। आजादी के बाद जनता द्वारा चुनी गई सरकारों और सरकारी व्यवस्था के प्रति अपनेपन की भावना प्रगट करने में अपने शासक विफल रहे है।
मुख्यमंत्री श्री मोदी ने वर्तमान इंफॉर्मेशन टेक्नॉलॉजी के युग में ऑनलाइन उपलब्ध इंफॉर्मेशन कम्युनिकेशन टेक्नॉलॉजी का अधिकतम उपयोग मिशन के रूप में करने पर बल देते हुए श्री मोदी ने कहा कि किसी भी घटना में जब सुनवाई अदालतों में होने वाली हो तब कई स्वार्थी तत्व कुप्रचार के सुनियोजित भ्रमजाल फैलाने में माहिर होते हैं।
ऐसे में उनके प्रभाव के बगैर सूचना के उपलब्ध साधनों से पक्ष-विपक्ष की चर्चा के बजाए सत्य को उजागर करने के लिए टेक्नोसेवी बनना ही पड़ेगा। लोकतंत्र में सरकार हो या न्यायपालिका, सबका मकसद समाज के लिए उत्तम प्रदान करने का ही होता है। ऐसे में लोकतंत्र के लिए पोषक बनने का कर्तव्य हम सभी का है। मुख्यमंत्री ने सरकार सम्बंधी अदालती विवादों के सम्बन्ध में जिला स्तर पर सरकारी प्रशासनिक अधिकारियों और सरकारी वकीलों के बीच नियमित परामर्श और संकलन का व्यवस्थापन करने का सुझाव दिया। ऐसा होने पर सरकार के पक्ष में कई विवादित मामलों का समाधान हो पाएगा और न्यायिक मामलों का निपटारा तेज होगा।
कार्यक्रम में राज्य की उच्च अदालत के वरिष्ठ न्यायमूर्ति श्री रवि त्रिपाठी और श्री जयंत भाई पटेल ने अपने विचार रखे। कानून मंत्री प्रदीपसिंह जाडेजा और एडवोकेट जनरल कमलभाई त्रिवेदी ने भी अपने विचारों को प्रस्तुत किया। प्रारम्भ में मुख्य सरकारी वकील प्रकाश जानी ने सभी का स्वागत किया और एडीशनल एडवोकेट जनरल ने सभी का आभार जताया। इस अवसर पर उच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति, सेवानिवृत्त न्यायाधीशगण, कानून विशेषज्ञ,जिला सरकारी- सहायक वकील, कानून सेजुड़े अधिकारीगण और आमंत्रित मेहमान मौजूद थे।