प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने आज बेंगलुरू का दौरा किया।
प्रधानमंत्री ने बेंगलुरू में बुश इंजीनियरिंग एंड इनोवेशन में जर्मनी की चांसलर सुश्री एंजेला मार्केल की अगवानी की। दोनों नेताओं के समक्ष नेत्र रोग और दुर्घटना पीड़ितों को फौरन सहायता पहुंचाने संबंधी सेवाओं के बारे में बुश इंजीनियरिंग एंड इनोवेशन द्वारा विकसित प्रणालियों को प्रस्तुत किया गया। बुश वोकेशनल सेंटर में दोनों नेताओं को स्कूली पढ़ाई बीच में छोड़ देने वाले व्यक्तियों के कौशल विकास संबंधी कार्यक्रमों का परिचय दिया गया।
प्रधानमंत्री और जर्मनी की चांसलर ने नेस्कॉम और फ्रॉनहोफर इंस्टीट्यूट द्वारा आयोजित एक व्यापार सम्मेलन में भी हिस्सा लिया। इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने कहा कि वैश्विक मंदी के दौर में भारत निवेश के लिए एक बेहतरीन स्थान है।
प्रधानमंत्री ने निवेशकों संबंधी तमाम लंबित मुद्दों को हल करने के लिए सरकार द्वारा उठाए जा रहे कदमों की जानकारी भी दी। उन्होंने भारत में मौजूद निवेश के विभिन्न अवसरों के बारे में भी चर्चा की।
प्रधानमंत्री ने कहा, “हम अपने सपनों को साकार करने के लिए आपकी सक्रिय भागीदारी चाहते हैं। इस लक्ष्य को पाने के लिए हमारे द्वारा त्वरित ढंग से दर्शाई जा रही प्रतिबद्धता से जर्मन कंपनियों के लिए अनेक अवसर सृजित हुए हैं। ये अवसर पांच करोड़ घरों के निर्माण से लेकर 100 स्मार्ट सिटी बनाने, हमारे रेल नेटवर्क एवं स्टेशनों के आधुनिकीकरण से लेकर नवीन रेल कॉरिडोर की स्थापना और 175 जीडब्ल्यू अक्षय ऊर्जा के उत्पादन से लेकर पारेषण एवं वितरण नेटवर्कों, राष्ट्रीय राजमार्गों, पुलों और मेट्रो रेल के निर्माण के रूप में उपलब्ध हैं। सृजन एवं उत्पादन की इतनी व्यापक गुंजाइश किसी और देश में नहीं होगी। यही नहीं, इस धरा पर कोई और ऐसा स्थान नहीं है जहां इतने बड़े पैमाने पर खपत की गुंजाइश नजर आती हो। हम डिजिटल इंडिया और स्किल इंडिया जैसे अभियानों के जरिये इस व्यापक संभावना को मूर्त रूप देने की कोशिश कर रहे हैं। इस ऊर्जा का पूर्ण रूप से दोहन करने के लिए हमने स्टार्ट अप इंडिया अभियान शुरू किया है।”
प्रधानमंत्री ने कहा, “भारत के सॉफ्टवेयर ही पूरी दुनिया में हार्डवेयर को गति प्रदान करेंगे। भारत की प्रतिभा ही प्रौद्योगिकी में पारंगत साबित होगी और भारत के बाजार ही विनिर्माण क्षेत्र को प्रेरित करेंगे। अत: भारत में व्यवसाय करना फायदे का सौदा साबित होगा। ‘मेक इन इंडिया’ के लिहाज से तो यहां व्यवसाय करना और भी ज्यादा फायदेमंद साबित होगा।” प्रधानमंत्री ने अपनी ट्वीट में कहा, “मैं चांसलर मर्केल के विजन की सराहना करता हूं जिसके तहत जर्मन इंजीनियरिंग और भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी मिलकर विश्व स्तरीय उत्पादों का सृजन की दिशा में अग्रसर रहे। चांसलर मर्केल भारत से विदा हो रही हैं और हम उनके प्रति कृतज्ञ हैं। उनका भारत दौरा बहुत सकारात्मक रहा और भारत-जर्मनी संबंधों को नई ऊंचाइयां प्राप्त हुईं।”