प्रधानमंत्री श्री नरेन्‍द्र मोदी ने नेपाल में आए भीषण भूकंप के बाद राहत और बचाव कार्यों में प्रगति की समीक्षा के लिए सोमवार शाम आयोजित एक उच्‍च स्‍तरीय बैठक की अध्‍यक्षता की। नेपाल में चल रहे राहत और बचाव कार्यों की समीक्षा के लिए बुलाई गई यह तीसरी बैठक थी जिसकी अध्‍यक्षता प्रधानमंत्री श्री नरेन्‍द्र मोदी ने की।
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इस उच्‍च स्‍तरीय बैठक में केन्‍द्रीय मंत्री श्री अरुण जेटली, श्री राजनाथ सिंह, श्री मनोहर पर्रिकर, राष्‍ट्रीय सुरक्षा सलाहकार श्री अजीत डोबाल, कैबिनेट सचिव श्री अजीत सेठ, प्रधान सचिव श्री नृपेन्‍द्र मिश्रा, अति‍रिक्‍त सचिव श्री पी.के. मिश्रा उपस्थित थे। इसके साथ ही केन्‍द्र सरकार, भारतीय मौसम विभाग, एनडीआरएफ के वरिष्‍ठ अधिकारी भी बैठक में शामिल हुए।

बैठक में प्रधानमंत्री श्री मोदी को भारत और नेपाल में चलाए जा रहे राहत और बचाव कार्यों में प्रगति की जानकारी दी गई। प्रधानमंत्री ने नेपाल से सड़क और वायु मार्ग द्वारा बचाए गए लोगों और प्रभावित क्षेत्रों में राहत सामग्री के वितरण की जानकारी प्राप्‍त की।

प्रधानमंत्री श्री मोदी ने प्रभावित क्षेत्रों में राहत कार्यों के प्रभावी क्रियान्‍वयन और नेपाल में राहत और बचाव उपकरणों को सुगमता से पहुंचाने के लिए केन्‍द्र और राज्‍य सरकारों के बीच समन्‍वय की आवश्‍यकता पर जोर दिया। उन्‍होंने कहा कि आवश्‍यकता पड़ने पर घायलों को भारत में उपचार के लिए सभी संभव सहायता प्रदान की जानी चाहिए। उन्‍होंने नेपाल में और विशेष तौर पर काठमांडू हवाई अड्डे पर राहत कार्यों में प्रभावी समन्‍वय की आवश्‍यकता पर विशेष जोर दिया। प्रधानमंत्री ने सुझाव दिया कि भूतपूर्व सैनिकों की समन्‍वय प्रयासों में मदद के लिए सहायता ली जा सकती है।

प्रधानमंत्री श्री मोदी ने बैठक में नेपाल में विशेष तौर पर आवश्‍यक दीर्घकालीन पुनर्वास और पुनर्निर्माण कार्यों का आकलन भी किया और उन्‍हें इस संबंध में सर्वप्रथम उठाए जाने वाले कदमों की जानकारी दी गई।